कोरोना, पà¥à¤°à¤•à¥ƒà¤¤à¤¿ और रामायण
रमेश गोयल
लेखक चिनà¥à¤¤à¤•, समीकà¥à¤·à¤• व परà¥à¤¯à¤¾à¤µà¤°à¤£ à¤à¤µà¤‚ जल संरकà¥à¤·à¤£ को समरà¥à¤ªà¤¿à¤¤ कारà¥à¤¯à¤•à¤°à¥à¤¤à¤¾ हैं
तीवà¥à¤° गति से पूरी दà¥à¤¨à¤¿à¤¯à¤¾ में फैल गई à¤à¤• बीमारी, जिसे कोविद-19 के नाम से जाना जा रहा है, बहà¥à¤¤ खतरनाक महामारी का रूप ले चà¥à¤•à¥€ है। इसका वायरस à¤à¤• छूत का रोग है जो रोगी के समà¥à¤ªà¤°à¥à¤• में आने वाले वà¥à¤¯à¤•à¥à¤¤à¤¿ के शरीर में पहà¥à¤‚च जाता है। वैशà¥à¤µà¤¿à¤• महामारी के चंगà¥à¤² में विशà¥à¤µ के विकसित देश à¤à¥€ पूरी तरह आ चà¥à¤•à¥‡ हैं। जनता दà¥à¤µà¤¾à¤°à¤¾ अपने आप को लाकडाऊन दà¥à¤µà¤¾à¤°à¤¾ बचाव करने के अतिरिकà¥à¤¤ कोई सही उपचार अà¤à¥€ तक नहीं आया है यानि किसी à¤à¥€ रोगी के समà¥à¤ªà¤°à¥à¤• में आने से बचना ही à¤à¤•à¤®à¤¾à¤¤à¥à¤° सà¥à¤°à¤•à¥à¤·à¤¾ है। लोग मानसिक रूप से तनावगà¥à¤°à¤¸à¥à¤¤ या रोगी न हों इसलिठà¤à¤¾à¤°à¤¤à¥€à¤¯ संसà¥à¤•à¥ƒà¤¤à¤¿ को समरà¥à¤ªà¤¿à¤¤ सरà¥à¤µà¤¾à¤§à¤¿à¤• लोकपà¥à¤°à¤¿à¤¯ धारावाहिक रामायण व महाà¤à¤¾à¤°à¤¤ का पà¥à¤°à¤¸à¤¾à¤°à¤£ आरमà¥à¤ किया गया। सैंकड़़ों वरà¥à¤· पूरà¥à¤µ रामायण के उतà¥à¤¤à¤°à¤•à¤¾à¤£à¥à¤¡ के अनà¥à¤¤à¤¿à¤® चरण (सोपान) में तà¥à¤²à¤¸à¥€à¤¦à¤¾à¤¸ जी ने पूरà¥à¤£ रूपेण सामाजिकता का वरà¥à¤£à¤¨ किया है जैसे दरिदà¥à¤°à¤¤à¤¾, परोपकार, विपतà¥à¤¤à¤¿, रोग, निनà¥à¤¦à¤¾, अहंकार आदि। दोहा 120(ख) से आगे चैपाई 14 में चमगादड़ का वरà¥à¤£à¤¨ सीधा कोरोना से जोड़ता है कà¥à¤¯à¥‹à¤‚कि पà¥à¤°à¤¾à¤ªà¥à¤¤ जानकारी अनà¥à¤¸à¤¾à¤° यह महामारी चमगादड़ को खाने के कारण फैली है। गीता पà¥à¤°à¥ˆà¤¸ गोरखपà¥à¤° दà¥à¤µà¤¾à¤°à¤¾ समà¥à¤µà¤¤à¥ 2045 (सन 1988) में पà¥à¤°à¤•à¤¾à¤¶à¤¿à¤¤ शà¥à¤°à¥€ राम चरित मानस के 73वें संसà¥à¤•à¤°à¤£ के पृषà¥à¤ 1048 व आगे का विवरण निमà¥à¤¨ पà¥à¤°à¤•à¤¾à¤° है।
सब कै निंदा जे जड़ करहीं। ते चमगादà¥à¤° होई अवतरहीं ।।
सà¥à¤¨à¤¹à¥ तात अब मानस रोगा । जिनà¥à¤¹ ते दà¥à¤– पावहिं सब लोगा।।
जो मूरà¥à¤– मनà¥à¤·à¥à¤¯ सबकी निनà¥à¤¦à¤¾ करते हैं, वे चमगादड़ होकर जनà¥à¤® लेते हैं। हे तातà¥! अब मानसरोग सà¥à¤¨à¤¿à¤¯à¥‡, जिनमें सब लोग दà¥à¤ƒà¤– पाया करते हैं।
मोह सकल वà¥à¤¯à¤¾à¤§à¤¿à¤¨à¥à¤¹ कर मूला। तिनà¥à¤¹ ते पà¥à¤¨à¤¿ उपजहिं बहॠसूला।।
काम बात कफ लोठअपारा। कà¥à¤°à¥‹à¤§ पितà¥à¤¤ नित छाती जारा ।।
सब रोगों की जड़ मोह (अजà¥à¤žà¤¾à¤¨) है। उन वà¥à¤¯à¤¾à¤§à¤¿à¤¯à¥‹à¤‚ से फिर और बहà¥à¤¤- से शूल उतà¥à¤ªà¤¨à¥à¤¨ होते हैं। काम बात है, लोठअपार (बà¥à¤¾ हà¥à¤†) कफ है और कà¥à¤°à¥‹à¤˜ पितà¥à¤¤ है जो सदा छाती जलाता रहता है। ।।15।। ( कोरोना के ये सब लकà¥à¤·à¤£ ही तो हैं।)
पà¥à¤°à¥€à¤¤à¤¿ करहिं जौं तीनिउ à¤à¤¾à¤ˆà¥¤ उपजइ सनà¥à¤¯à¤ªà¤¾à¤¤ दà¥à¤–दाई ।।
विषय मनोरथ दà¥à¤°à¥à¤—म नाना । ते सब सूल नाम को जाना ।।
यदि कहीं ये तीनों à¤à¤¾à¤ˆ (वात, पितà¥à¤¤ और कफ) पà¥à¤°à¥€à¤¤ कर लें (मिल जायें) तो दà¥à¤–दायक सनà¥à¤¨à¤¿à¤ªà¤¾à¤¤ रोग उतà¥à¤ªà¤¨à¥à¤¨ होता है। कठिनता से पà¥à¤°à¤¾à¤ªà¥à¤¤ (पूरà¥à¤£ होने वाले जो विषयों के मनोरथ हैं, वे ही सब शूल (कषà¥à¤Ÿà¤¦à¤¾à¤¯à¤• रोग) हैं उनके नाम कौन जानता है (अरà¥à¤¥à¤¤ वे अपार हैं) ।। 16 ।।
रघà¥à¤ªà¤¤à¤¿ à¤à¤—ति सजीवन मूरी। अनूपान शà¥à¤°à¤¦à¥à¤§à¤¾ मति पूरी ।।
à¤à¤¹à¤¿ बिधि à¤à¤²à¥‡à¤¹à¥€à¤‚ सो रोग नसाहीं । नाहि त जतन कोटि नहिं जाहीं। ।।
शà¥à¤°à¥€ रघà¥à¤¨à¤¾à¤¥ जी की à¤à¤•à¥à¤¤à¤¿ संजीवनी जड़ी है। शà¥à¤°à¤¦à¥à¤§à¤¾ से पूरà¥à¤£ बà¥à¤¦à¥à¤§à¤¿ ही अनà¥à¤ªà¤¾à¤¨ (दवा के साथ लिया जाने वाला मधॠआदि) है। इस पà¥à¤°à¤•à¤¾à¤° का संयोग हो तो वे रोग à¤à¤²à¥‡ ही नषà¥à¤Ÿ हो जाये, नहीं तो करोड़ों पà¥à¤°à¤¯à¤¤à¥à¤¨à¥‹à¤‚ से à¤à¥€ नहीं जाते ।। 4 ।।
तृषा जाई बरू मृगजल पाना। बरू जामहिं संस सीस बिषाना ।।
अंधकारू बरू रबहि नसावै । राम बिमà¥à¤– न जीव सà¥à¤– पावै ।।
मृगतृषà¥à¤£à¤¾ के जल को पीने से à¤à¤²à¥‡ ही पà¥à¤¯à¤¾à¤¸ बà¥à¤ जाय, खरगोश के सिर पर à¤à¤²à¥‡ ही सींग निकल आवें, अनà¥à¤§à¤•à¤¾à¤° à¤à¤²à¥‡ ही सूरà¥à¤¯ का नाश कर दें, परनà¥à¤¤à¥ शà¥à¤°à¥€à¤°à¤¾à¤® से विमà¥à¤– होकर जीव सà¥à¤– नहीं पा सकता ।। 9 ।।
बारि मथें घृत होइ सिकता ते बरू तेल ।
बिनॠहरि à¤à¤œà¤¨ न à¤à¤µ तरिअ यह सिदà¥à¤§à¤¾à¤‚त अपेल।।
जल को मथने से à¤à¤²à¥‡ ही घी उतà¥à¤ªà¤¨à¥à¤¨ हो जाय और बालू से à¤à¤²à¥‡ ही तेल निकल आवे,परनà¥à¤¤à¥ शà¥à¤°à¥€ हरि के à¤à¤œà¤¨ बिना संसार रूपी समà¥à¤¦à¥à¤° से नहीं तरा जा सकता,यह सिदà¥à¤§à¤¾à¤¨à¥à¤¤ अटल है।।122क।
मसकहिं करइ बिरंचि पà¥à¤°à¤à¥ अजहि मसक ते हीन ।
अस बिचारि तजि संसय रामहि à¤à¤œà¤¹à¤¿à¤‚ पà¥à¤°à¤¬à¥€à¤¨ ।।
पà¥à¤°à¤à¥ मचà¥à¤›à¤° को बà¥à¤°à¤¹à¤®à¤¾ कर सकते हैं और बà¥à¤°à¤¹à¤®à¤¾ को मचà¥à¤›à¤° से à¤à¥€ तà¥à¤šà¥à¤› बना सकते हैं । à¤à¤¸à¤¾ विचार कर चतà¥à¤° पà¥à¤°à¥‚ष सब सनà¥à¤¦à¥‡à¤¹ तà¥à¤¯à¤¾à¤—कर शà¥à¤°à¥€à¤°à¤¾à¤® को ही à¤à¤œà¤¤à¥‡ है। ।। 122 (ख) ।।
अनेक चैपाईयों के माधà¥à¤¯à¤® से पूरे पà¥à¤°à¤¸à¤‚ग को तà¥à¤²à¤¸à¥€à¤¦à¤¾à¤¸ जी की चेतावनी पूरà¥à¤£ à¤à¤µà¤¿à¤·à¥à¤¯à¤µà¤¾à¤£à¥€ मानते हà¥à¤ शà¥à¤°à¥€à¤°à¤¾à¤® व शà¥à¤°à¥€ हरि के नाम के सà¥à¤¥à¤¾à¤¨ पर पà¥à¤°à¤•à¥ƒà¤¤à¤¿ शबà¥à¤¦ को जोड़ लें तो आज की परिसà¥à¤¥à¤¿à¤¤à¤¿ (कोरोना जैसी महामारी) के संकेत सà¥à¤ªà¤·à¥à¤Ÿ हो जायेंगे। छोटे छोटे रोग पà¥à¤°à¤•à¥ƒà¤¤à¤¿ विमà¥à¤– होने से कैसे बà¥à¤¤à¥‡ हैं और कैसे अनेक पà¥à¤°à¤•à¤¾à¤° की विपतà¥à¤¤à¤¿à¤¯à¤¾à¤‚ कषà¥à¤Ÿ आते रहते हैं। चैपाई 15 में खांसी, फेैफड़ों में जलन का संकेत कोरोना के लकà¥à¤·à¤£ तà¥à¤²à¥à¤¯ ही तो हैं। चैपाई 16 में उनका यह कहना है कि यदि ये तीनों à¤à¤¾à¤ˆ यानि वात, कफ, पितà¥à¤¤ रोग à¤à¤• साथ मिलकर आकà¥à¤°à¤®à¤£ कर दें तो जो कषà¥à¤Ÿà¤¦à¤¾à¤¯à¤• रोग होगा उसका नाम कोई नहीं जानता। इनमें से à¤à¤• ही रोग के वशीà¤à¥‚त लोग मर जाते हैं फिर इनका संगम तो असाधà¥à¤¯ महारोग होगा ही। चैपाई 19 में जà¥à¤µà¤° (बà¥à¤–ार) का विवरण है और कोरोना में खांसी, फेफड़ों के संकà¥à¤°à¤®à¤£ के साथ जà¥à¤µà¤° ही होता है। काम कà¥à¤°à¥‹à¤§, लोà¤, मोह, अहंकार, राग, दà¥à¤µà¥‡à¤·, ईषà¥à¤°à¥à¤¯à¤¾, तृषà¥à¤£à¤¾ आदि सबको विà¤à¤¿à¤¨à¥à¤¨ रोगों से जोड़ते हà¥à¤ तà¥à¤²à¤¸à¥€à¤¦à¤¾à¤¸ जी ने समाज को दरà¥à¤ªà¤£ दिखाने का सà¥à¤¨à¥à¤¦à¤° पà¥à¤°à¤¯à¤¾à¤¸ किया है परनà¥à¤¤à¥ आधà¥à¤¨à¤¿à¤•à¤¤à¤¾ व à¤à¥Œà¤¤à¤¿à¤•à¤¤à¤¾ की अनà¥à¤§à¥€ दौड़ में पागल मनà¥à¤·à¥à¤¯ ने इस ओर कà¤à¥€ धà¥à¤¯à¤¾à¤¨ नहीं दिया। उनà¥à¤¹à¥‹à¤‚ने कहा है कि रोग के विषय में पता लगने पर उसका पà¥à¤°à¤à¤¾à¤µ कà¥à¤·à¥€à¤£ तो कर पायेंगे परनà¥à¤¤à¥ शà¥à¤°à¥€à¤°à¤¾à¤® की कृपा बिना पूरà¥à¤£à¤°à¥‚पेण समापà¥à¤¤ करना सà¥à¤—म नहीं होगा यानि पà¥à¤°à¤•à¥ƒà¤¤à¤¿ अनà¥à¤•à¥‚ल हà¥à¤ बिना उपचार समà¥à¤à¤µ नहीं जिसके होने में समय लगेगा। नियम, जà¥à¤žà¤¾à¤¨, जप, दान उतà¥à¤¤à¤® आचरण व अनà¥à¤¯ उपायों के बाद à¤à¥€ यह रोग आसानी से नहीं जाता। यानि नियमों व कारà¥à¤¯ पà¥à¤°à¤£à¤¾à¤²à¥€ में अतà¥à¤¯à¤¨à¥à¤¤ परिवरà¥à¤¤à¤¨ के बाद à¤à¥€ मà¥à¤•à¥à¤¤à¤¿ आसान नहीं है। हर चैपाई का सरल à¤à¤¾à¤·à¤¾ में अरà¥à¤¥ हर वà¥à¤¯à¤•à¥à¤¤à¤¿ समठसकता है। उसे इसी दà¥à¤µà¤·à¥à¤Ÿà¥€à¤•à¥‹à¤£ व à¤à¤¾à¤µ से समà¤à¤¨à¥‡ का पà¥à¤°à¤¯à¤¾à¤¸ करें। उनà¥à¤¹à¥‹à¤‚ने उसका उपाय बताते हà¥à¤ सदà¥à¤—à¥à¤°à¥‚ रूपी वैदà¥à¤¯ के वचनों पर विशà¥à¤µà¤¾à¤¸ करने के लिठसà¥à¤à¤¾à¤µ दिया है। वरà¥à¤¤à¤®à¤¾à¤¨ में हमारे शासक-नियनà¥à¤¤à¥à¤°à¤• माननीय पà¥à¤°à¤§à¤¾à¤¨ मनà¥à¤¤à¥à¤°à¥€ मोदी जी को इस रूप में मानते हà¥à¤ हम उनका अनà¥à¤¶à¤°à¤£ करें तो समसà¥à¤¯à¤¾ का निदान हो सकता है। संयम और पà¥à¤°à¤•à¥ƒà¤¤à¤¿à¤¨à¤¿à¤·à¥à¤ होकर कारà¥à¤¯ व अनà¥à¤ªà¤¾à¤²à¤¨ ही शà¥à¤°à¥‡à¤·à¥à¤ साधन है। मलेरिया जà¥à¤µà¤° हेतॠपà¥à¤°à¤¯à¥‹à¤— की जाने वाली à¤à¤¾à¤°à¤¤à¥€à¤¯ दवा हाईडà¥à¤°à¥‹à¤•à¥à¤¸à¥€à¤•à¥à¤²à¥‹à¤°à¥‹à¤•à¥à¤µà¤¿à¤¨ ही सारà¥à¤¥à¤• बनी हà¥à¤ˆ है और पूरा विशà¥à¤µ इसके लिठà¤à¤¾à¤°à¤¤ की ओर ताक रहा है।
उदाहरणों सहित उनà¥à¤¹à¥‹à¤‚ने यह à¤à¥€ बताया है कि असमà¥à¤à¤µ से असमà¥à¤à¤µ बात à¤à¥€ शायद समà¥à¤à¤µ हो जाये जैसे कछà¥à¤ की पीठपर à¤à¤²à¥‡ ही बाल उग आवें, बांॅठका पà¥à¤¤à¥à¤° à¤à¤²à¥‡ ही किसी को मार डाले, आकाश में à¤à¤²à¥‡ ही अनेकों पà¥à¤°à¤•à¤¾à¤° के फूल खिल उठें, मृगतृषà¥à¤£à¤¾ के जल को पीने से à¤à¤²à¥‡ ही पà¥à¤¯à¤¾à¤¸ बà¥à¤ जाय, खरगोश के सिर पर à¤à¤²à¥‡ ही सींग निकल आवें, अनà¥à¤§à¤•à¤¾à¤° à¤à¤²à¥‡ ही सूरà¥à¤¯ का नाश कर दें, बरà¥à¤« से à¤à¤²à¥‡ ही अगà¥à¤¨à¤¿ पà¥à¤°à¤—ट हो जाय, यानी ये सब अनहोनी बातें चाहंे हो जायंे परनà¥à¤¤à¥ शà¥à¤°à¥€à¤¹à¤°à¤¿ (पà¥à¤°à¤•à¥ƒà¤¤à¤¿) से विमà¥à¤– होकर जीव सà¥à¤– पà¥à¤°à¤¾à¤ªà¥à¤¤ नहीं कर सकता है। उनके अनà¥à¤¸à¤¾à¤° यह à¤à¤¯à¤‚कर रोग किसी छोटे बड़े का à¤à¥‡à¤¦ à¤à¥€ नहीं करता। मà¥à¤¨à¤¿ यानी उतà¥à¤¤à¤® पà¥à¤°à¥‚ष, जिनà¥à¤¹à¤‚ें आजकल अति विशिषà¥à¤Ÿ वà¥à¤¯à¤•à¥à¤¤à¤¿ (वीआईपी) कहा जाता है, à¤à¥€ इससे बच नहीं पायेंगे। बà¥à¤°à¤¿à¤Ÿà¥‡à¤¨ के राजकà¥à¤®à¤¾à¤° चालà¥à¤°à¥à¤¸, पà¥à¤°à¤§à¤¾à¤¨à¤®à¤¨à¥à¤¤à¥à¤°à¥€ जानसन, सà¥à¤µà¤¾à¤¸à¥à¤¥à¥à¤¯ मनà¥à¤¤à¥à¤°à¥€ हंैंकोक, कनाडा के पà¥à¤°à¤§à¤¾à¤¨ मनà¥à¤¤à¥à¤°à¥€ की पतà¥à¤¨à¥€ सोफिया, विखà¥à¤¯à¤¾à¤¤ à¤à¤•à¥à¤Ÿà¤° ओलिविया, इजराईल के सà¥à¤µà¤¾à¤¸à¥à¤¥à¤¯ मनà¥à¤¤à¥à¤°à¥€, अमेरिकन गायक जोहन पà¥à¤°à¤¾à¤‡à¤¨, टरà¥à¤•à¥€ फà¥à¤Ÿà¤¬à¤¾à¤²à¤° रैकबर, गायिका कनिका कपूर, इनà¥à¤¦à¤¿à¤°à¤¾ वरà¥à¤®à¤¾, बà¥à¤•à¤¿à¤¨ नटस के बासà¥à¤•à¥‡à¤Ÿ बाल खिलाड़ी, आसà¥à¤Ÿà¥à¤°à¥‡à¤²à¤¿à¤¯à¤¾ के गृहकारà¥à¤¯ मनà¥à¤¤à¥à¤°à¥€ पीटर, ईरान के उप सà¥à¤µà¤¾à¤¸à¥à¤¥à¥à¤¯ मनà¥à¤¤à¥à¤°à¥€ सहित विशà¥à¤µ के अनेक अतिविशिषà¥à¤Ÿ वà¥à¤¯à¤•à¥à¤¤à¤¿ इसकी चपेट में आ चà¥à¤•à¥‡ हैं और इसकी à¤à¤¯à¤‚करता व समानता के सà¥à¤ªà¤·à¥à¤Ÿ उदाहरण हैं। उनà¥à¤¹à¥‹à¤‚ने कहा है कि केवल पà¥à¤°à¤à¥‚ ही असमà¥à¤à¤µ को समà¥à¤à¤µ बना सकते हैं यानी पà¥à¤°à¤•à¥ƒà¤¤à¤¿ ही सरà¥à¤µà¤¶à¤•à¥à¤¤à¤¿à¤®à¤¾à¤¨ है।
विशà¥à¤µ के अनेक देशों में समय समय पर तà¥à¤«à¤¾à¤¨, à¤à¥‚कमà¥à¤ª, जंगल की आग, बरà¥à¤«à¤¬à¤¾à¤°à¥€, बाॠआदि पà¥à¤°à¤¾à¤•à¥ƒà¤¤à¤¿à¤• आपदाà¤à¤‚ आती रहती हैं जिनà¥à¤¹à¥‡à¤‚ हम नजरअनà¥à¤¦à¤¾à¤œ करते रहे हैं और पà¥à¤°à¤•à¥ƒà¤¤à¤¿ की चेतावनी को नहीं माना। पà¥à¤°à¤¦à¥‚षण का सà¥à¤¤à¤° इतना बॠगया कि शà¥à¤¦à¥à¤§ वायू को तरसने लगे और सà¥à¤¥à¤¿à¤¤à¤¿ यहां तक पहà¥à¤‚ची कि बचà¥à¤šà¥‡ विदà¥à¤¯à¤¾à¤²à¤¯à¥‹à¤‚ में मासà¥à¤• लगाकर जाने लगे। परà¥à¤µà¤¤à¥‹à¤‚ की ताजा हवा के नाम पर शà¥à¤¦à¥à¤§ वायॠके सिलेनà¥à¤¡à¤° बिकने लगे। पà¥à¤°à¤¦à¥‚षित वातावरण से तापमान इतना बà¥à¤¾ कि विशà¥à¤µ à¤à¤° में अरबों की संखà¥à¤¯à¤¾ में जीव जनà¥à¤¤à¥ मर गये परनà¥à¤¤à¥ मनà¥à¤·à¥à¤¯ ने अपनी गति बà¥à¤¾à¤¨à¥‡ की होड़ में सारी सीमाà¤à¤‚ पार दी। à¤à¤• शताबà¥à¤¦à¥€ पूरà¥à¤µ 50 पà¥à¤°à¤¤à¤¿à¤¶à¤¤ à¤à¥‚à¤à¤¾à¤— पर जगंल थे जो अब 10 पà¥à¤°à¤¤à¤¿à¤¶à¤¤ से à¤à¥€ कम हैं। लाखों तालाब कà¥à¤ बावड़ी तथा हजारों नदियां सà¥à¤– गठहैं या अतिकà¥à¤°à¤®à¤£ के शिकार हो गठहंै। अनà¥à¤¤à¤¤à¤ƒ पà¥à¤°à¤•à¥ƒà¤¤à¤¿ रूपी à¤à¤—वान ने मनà¥à¤·à¥à¤¯ को उसकी औकात बताई है और à¤à¤• छोटे से किटाणॠके माधà¥à¤¯à¤® से सबको नानी याद दिला दी है। सकारातà¥à¤®à¤• सोच के साथ इसे हम आपदा की बजाय यह मानें कि पà¥à¤°à¤•à¥ƒà¤¤à¤¿ ने हमें परà¥à¤¯à¤¾à¤µà¤°à¤£ शà¥à¤¦à¥à¤§à¤¿à¤•à¤°à¤£ के साथ साथ सà¥à¤µà¤¯à¤‚ को पहचानने, सà¥à¤µà¤¸à¥à¤¥ रखने, फासà¥à¤Ÿ फूड व ऊट पटांग वसà¥à¤¤à¥à¤à¤‚ न खाने, बिना कारण यातà¥à¤°à¤¾ न करने, बाहर à¤à¤¾à¤‚कने की बजाय अनà¥à¤¦à¤° à¤à¤¾à¤‚कते हà¥à¤ मन मनà¥à¤¦à¤¿à¤° में जाकर घर à¤à¤• मनà¥à¤¦à¤¿à¤° की कहावत को चरितारà¥à¤¥ करने का सà¥à¤…वसर पà¥à¤°à¤¦à¤¾à¤¨ किया है, तो शà¥à¤°à¥‡à¤·à¥à¤ रहेगा।
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